त्रिवेणी कला की ‘संगम साधिका’ हैं सुपर्णा सूद | Ten Talks

टेन न्यूज़ नेटवर्क

नोएडा (31 मई 2025): नोएडा के सेक्टर 44 में निवास करने वाली सुपर्णा सूद भारतीय कला और संस्कृति के आकाश में एक दैदीप्यमान नक्षत्र के समान हैं। वे नृत्य, अभिनय एवं मॉडलिंग, इन तीनों विधाओं में उल्लेखनीय योगदान देने के कारण ‘त्रिवेणी कला की संगम साधिका’ कही जाती हैं। लगभग 60 वर्ष की अवस्था में भी उनका उत्साह, समर्पण एवं कर्मनिष्ठा आज की युवा पीढ़ी के लिए एक जीवंत प्रेरणा हैं।

टेन न्यूज नेटवर्क से विशेष बातचीत में सुपर्णा सूद ने बताया कि उनकी कला-यात्रा का आरम्भ अत्यन्त अल्प आयु में हुआ। मात्र आठ वर्ष की आयु में उन्होंने जापान की प्रतिष्ठित डॉक्युमेंट्री फिल्म “चिल्ड्रन ऑफ द वर्ल्ड” में भारत का प्रतिनिधित्व किया। यह फिल्म जापान टीवी द्वारा निर्मित की गई थी। उसी समय उन्हें भारत सरकार के सूचना एवं प्रसारण मंत्रालय से छात्रवृत्ति भी प्राप्त हुई, जो उनके प्रतिभा-संपन्न भविष्य का संकेत था।

वर्ष 1970 से 1990 के मध्य, उन्होंने विज्ञापन-जगत में एक निर्भीक, सशक्त एवं प्रगतिशील मॉडल के रूप में अपनी विशिष्ट पहचान निर्मित की। उन्होंने अंडरगारमेंट्स, औषधियाँ तथा कंडोम जैसे विषयों पर आधारित विज्ञापनों में कार्य कर समाज की रूढ़ मान्यताओं को सीधी चुनौती दी। उनके अनुसार, विज्ञापन केवल उत्पाद-प्रसार का माध्यम नहीं, अपितु सामाजिक विमर्श का प्रभावी साधन हैं।

टीवी की कुछ मुख्य उपलब्धियां

सूपर्णा सूद ने भारतीय फिल्म, टेलीविज़न और रंगमंच की दुनिया में एक सशक्त उपस्थिति दर्ज कराई है। अपने बहुआयामी अभिनय से उन्होंने विभिन्न मंचों पर दर्शकों का दिल जीता है। सूपर्णा सूद ने अपने करियर की शुरुआत वर्ष 1974 में बॉलीवुड फिल्म “कितने पास कितने दूर” से की थी, जिसमें उन्होंने लोकप्रिय अभिनेता सचिन और अभिनेत्री सारिका के साथ अभिनय किया। इस फिल्म में बाल कलाकार के रूप में उनका प्रदर्शन सराहनीय रहा।

सूद ने चर्चित अभिनेता और टीवी पैनलिस्ट कवलजीत के साथ लोकप्रिय धारावाहिक “पीसी 1008” में अभिनय किया, जो दर्शकों के बीच खासा लोकप्रिय रहा। इसके अलावा, उन्होंने दूरदर्शन के लिए प्रख्यात निर्देशिका कमलीनी दत्त के निर्देशन में संस्कृत भाषा में कई टेलीफिल्म्स में कार्य किया। रंगमंच की बात करें तो सूपर्णा सूद ने राष्ट्रीय नाट्य विद्यालय (NSD) से जुड़े प्रतिष्ठित नाट्य निर्देशक ज्ञान शिवपुरी के साथ कई नाटकों में अभिनय किया। उनके थिएटर प्रस्तुतियों में भावनात्मक गहराई और चरित्र की परिपक्वता दर्शकों को प्रभावित करती रही है।

यद्यपि उन्होंने साहसी विषयों पर कार्य किया, तथापि उन्होंने कभी भी अपने मूल्यों एवं संस्कारों से समझौता नहीं किया। जब अभिनय और मॉडलिंग के क्षेत्र में उन्हें ऐसे प्रस्ताव मिलने लगे जो उनके आदर्शों के प्रतिकूल थे, तब उन्होंने दृढ़तापूर्वक उन प्रस्तावों को अस्वीकार कर दिया और कला की अन्य विधा नृत्य की ओर अग्रसर हो गईं।

अभिनय के क्षेत्र में भी सुपर्णा ने रंगमंच, दूरदर्शन धारावाहिकों एवं लघु फिल्मों के माध्यम से अपनी भावनात्मक गहराई एवं चरित्र में समाहित हो जाने की विलक्षण क्षमता का परिचय दिया। उनके अभिनय में जीवन के यथार्थ की झलक मिलती है, जो दर्शकों के हृदय को स्पर्श करती है।

युवा पीढ़ी को सफलता का मंत्र देते हुए सुपर्णा कहती हैं कि आज के युग में अवसरों की कोई कमी नहीं है चाहे वह टेलीविजन हो, ओटीटी हो या सोशल मीडिया परंतु इन सभी के साथ प्रतियोगिता भी तीव्र हो चुकी है। इसलिए, इस क्षेत्र में प्रवेश करने से पूर्व मानसिक, भावनात्मक एवं शारीरिक रूप से पूर्णतः तैयार होना अनिवार्य है।

आज सुपर्णा सूद न केवल एक उत्कृष्ट कलाकार हैं, अपितु वे महिला सशक्तिकरण एवं प्रगतिशील विचारधारा की मूर्तिमान प्रतीक हैं। उनका जीवन इस तथ्य का प्रमाण है कि यदि मनुष्य सिद्धांतों पर अडिग रहे और आत्मबल से ओतप्रोत हो, तो सफलता स्वतः उसके पथ का अनुकरण करती है। उनकी साधना, दृढ़ता और कला के प्रति निष्ठा भारतीय सांस्कृतिक विरासत में एक अमिट अध्याय के रूप में सदैव स्मरणीय रहेगी।


प्रिय पाठकों एवं दर्शकों, प्रतिदिन नई दिल्ली, दिल्ली सरकार, दिल्ली राजनीति, दिल्ली मेट्रो, दिल्ली पुलिस, दिल्ली नगर निगम, नोएडा, ग्रेटर नोएडा, यमुना एक्सप्रेसवे क्षेत्र की ताजा एवं बड़ी खबरें पढ़ने के लिए hindi.tennews.in : राष्ट्रीय न्यूज पोर्टल को विजिट करते रहे एवं अपनी ई मेल सबमिट कर सब्सक्राइब भी करे। विडियो न्यूज़ देखने के लिए TEN NEWS NATIONAL यूट्यूब चैनल को भी ज़रूर सब्सक्राइब करे।


Discover more from टेन न्यूज हिंदी

Subscribe to get the latest posts sent to your email.

टिप्पणियाँ बंद हैं।