1 अप्रैल से आयकर व बचत पर ब्याज के नियमों में बदलाव, आपके जेब पर पड़ेगा असर!

टेन न्यूज़ नेटवर्क

नई दिल्ली (31 मार्च 2025): 01 अप्रैल 2025 से नया वित्त वर्ष 2025-26 शुरू हो रहा है, जिसमें वित्तीय और गैर-वित्तीय सेवाओं से जुड़े कई नियम बदलने जा रहे हैं। इन बदलावों का सीधा असर आम लोगों की आय, बचत और लेनदेन पर पड़ेगा। खासतौर पर आयकर और बचत पर मिलने वाले ब्याज की दरों में संशोधन किया गया है। यूपीआई से जुड़े नियमों में भी परिवर्तन किया गया है, जिससे डिजिटल भुगतान पर प्रभाव पड़ेगा। इन नए नियमों को समझना जरूरी है ताकि आप वित्तीय फैसले सही तरीके से ले सकें।

नई कर प्रणाली से टैक्स में छूट

सरकार ने नई कर प्रणाली को स्वैच्छिक रूप से अपनाने का विकल्प दिया है, जिसमें 12 लाख रुपये तक की आय पर कोई कर नहीं लगेगा। वेतनभोगी वर्ग को 75,000 रुपये का अतिरिक्त स्टैंडर्ड डिडक्शन मिलेगा। इस नई कर प्रणाली में 0 से 4 लाख रुपये तक की आय पर कोई टैक्स नहीं है, जबकि 4 से 8 लाख तक 5% टैक्स देना होगा। 8 से 12 लाख रुपये तक की आय पर 10%, 12 से 16 लाख तक 15%, 16 से 20 लाख तक 20%, 20 से 24 लाख तक 25% और 24 लाख से अधिक पर 30% कर लगाया जाएगा।

बचत योजनाओं पर ज्यादा ब्याज का लाभ

एक अप्रैल से स्थायी जमा (एफडी), आवर्ती जमा (आरडी) और अन्य बचत योजनाओं पर गैर-कर योग्य ब्याज की सीमा बढ़ा दी गई है। वरिष्ठ नागरिकों के लिए ब्याज से प्राप्त आय की करमुक्त सीमा 50,000 रुपये से बढ़ाकर 1 लाख रुपये कर दी गई है। अन्य करदाताओं के लिए यह सीमा 40,000 रुपये से बढ़ाकर 50,000 रुपये कर दी गई है। इस बदलाव से बचत करने वाले नागरिकों को राहत मिलेगी और उन्हें अधिक बचत का अवसर मिलेगा।

मकान किराये की आय पर बढ़ी छूट

मकान मालिकों के लिए एक अप्रैल से एक बड़ी राहत दी गई है। अब किराये की आय पर कर मुक्त सीमा 6 लाख रुपये तक कर दी गई है। इससे मकान मालिकों को अधिक नकदी मिलेगी और किराये के बाजार को बढ़ावा मिलेगा। यह बदलाव खासतौर पर शहरी इलाकों में निवेश को प्रोत्साहित करेगा और किराये की संपत्तियों की मांग को बढ़ाएगा।

बड़े चेक के लिए पॉजिटिव पे सिस्टम अनिवार्य

चेक भुगतान के मामले में सुरक्षा बढ़ाने के लिए पॉजिटिव पे सिस्टम लागू किया गया है। 50,000 रुपये से अधिक के चेक भुगतान के लिए इस सिस्टम के तहत चेक की जानकारी पहले बैंक को देनी होगी। इस कदम का उद्देश्य चेक भुगतान में धोखाधड़ी की घटनाओं को रोकना है और लेनदेन को अधिक सुरक्षित बनाना है।

केंद्रीय कर्मचारियों के लिए नई पेंशन योजना

केंद्र सरकार ने अपने कर्मचारियों के लिए 1 अप्रैल से एक नई पेंशन योजना लागू की है, जिसे यूनिफाइड पेंशन स्कीम (UPS) कहा जा रहा है। इस योजना के तहत 25 साल की न्यूनतम सेवा पर अंतिम 12 महीने के औसत वेतन का 50% पेंशन के रूप में मिलेगा। लगभग 23 लाख कर्मचारियों को इस योजना से लाभ मिलेगा।

विदेश में पढ़ाई करने वाले छात्रों को राहत

विदेश में पढ़ने वाले छात्रों के लिए भी बड़ी राहत दी गई है। अब माता-पिता बिना किसी अतिरिक्त टैक्स के 10 लाख रुपये तक की राशि विदेश भेज सकते हैं। पहले यह सीमा 7 लाख रुपये थी, जिसके ऊपर 5% टैक्स देना पड़ता था। यह बदलाव विदेश में पढ़ाई करने वाले छात्रों के लिए वित्तीय बोझ को कम करेगा।

यूपीआई और जीएसटी नियमों में बदलाव

एक अप्रैल से निष्क्रिय मोबाइल नंबरों को यूपीआई आईडी से हटा दिया जाएगा, जिससे निष्क्रिय खातों से लेनदेन नहीं हो सकेगा। इसके अलावा, 10 करोड़ से अधिक के सालाना कारोबार करने वाले व्यापारियों के लिए 30 दिनों के भीतर ई-इनवॉयस की जानकारी पंजीकरण पोर्टल पर देना अनिवार्य कर दिया गया है। इन परिवर्तनों का उद्देश्य डिजिटल भुगतान और जीएसटी प्रक्रियाओं को अधिक पारदर्शी बनाना है।।


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