AI के क्षेत्र में हमें GPU की दौड़ में खुद को शामिल करना होगा : Yogi Kochhar, संस्थापक, YOL | EPSI Book Release Function
टेन न्यूज नेटवर्क
नई दिल्ली (29 मार्च 2025): एजुकेशन प्रमोशन सोसाइटी फॉर इंडिया (EPSI) ने एक शानदार आयोजन किया, जिसमें “The Road Ahead 2.0: A Seminal Work On AI” पुस्तक का विमोचन हुआ। इस पुस्तक के लेखक डॉ. टी.जी. सिताराम और सह-लेखक योगी कोच्चर ने आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस (AI) के तेजी से विकसित होते क्षेत्र और इसके समाज तथा उद्योगों पर पड़े प्रभाव पर गहन विचार किए हैं। पुस्तक के विमोचन के इस विशेष अवसर पर, गणमान्य अतिथियों, उद्योग विशेषज्ञों और शैक्षिक विद्वानों का एक विशेष समूह एकत्र हुआ, जो इस पुस्तक में उठाए गए विषयों और इसके भविष्य के दृष्टिकोण पर चर्चा करने के लिए उत्सुक था।
योगी कोच्चर से खास बातचीत
टेन न्यूज के साथ एक विशेष बातचीत में योगी कोच्चर, जो एक तकनीकी विशेषज्ञ और एआई के प्रचारक के साथ-साथ YourOnelife (YOL) एप के संस्थापक भी हैं, ने एआई और तकनीकी क्षेत्र में हो रहे बदलावों पर अपनी राय दी।

योगी कोच्चर ने बिल गेट्स की पुस्तक “The Road Ahead” का उल्लेख करते हुए कहा कि 30 साल पहले जब गेट्स इस पुस्तक पर काम कर रहे थे, तब सिर्फ एक CPU था, जबकि अब GPU की क्रांति आ चुकी है। उन्होंने उदाहरण देते हुए कहा, पहले हमें किताबें पढ़ने के लिए एक पन्ने से दूसरे पन्ने तक जाना पड़ता था, लेकिन अब GPU के माध्यम से हम पूरी किताब एक बार में समझ सकते हैं। यह मस्तिष्क के पाइनल ग्लैंड की तरह काम करता है, जो हमें सभी जानकारी तुरंत समझने की क्षमता प्रदान करता है।
योगी कोच्चर ने बताया कि उन्होंने आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस (AI) पर 9 से 10 महीने तक गहन शोध किया और इस दौरान यह जाना कि भारत में GPU की भारी कमी है, जो AI के क्षेत्र में एक बड़ी चुनौती है। उन्होंने एआई की दौड़ में शामिल होने के लिए AI एजेंट्स बनाने की आवश्यकता पर जोर दिया और एलन मस्क का उदाहरण देते हुए कहा कि उनके पास 2 लाख GPU हैं, जबकि भारत की स्थिति इससे बिल्कुल अलग है।
इसके अलावा, योगी कोच्चर ने आज के युवाओं के लिए भी एक महत्वपूर्ण संदेश दिया। उन्होंने कहा, आजकल के युवा अपने स्मार्टफोन और सोशल मीडिया में उलझे हुए हैं, और उन्हें यह तक याद नहीं रहता कि उन्होंने पिछले दिनों में क्या किया या देखा। यह मानसिक संतुलन को प्रभावित करता है। उन्होंने यह भी बताया कि आने वाले 1 से 2 सालों में नौकरियों में बड़े बदलाव आ सकते हैं, जिनका असर 2026 के शुरुआत तक महसूस होगा। इसके साथ ही उन्होंने यह स्पष्ट किया कि एआई के लिए माइक्रोसॉफ्ट और गूगल की लैब्स पर्याप्त नहीं हैं, और इसके लिए एक नई AI लैब की आवश्यकता है।
AI और शिक्षा: भारत के भविष्य को आकार देने के लिए एक नई दिशा
इस कार्यक्रम में, AI के माध्यम से भारतीय शिक्षा व्यवस्था को सुदृढ़ करने और देश को वैश्विक तकनीकी प्रतिस्पर्धा में आगे बढ़ाने पर भी चर्चा की गई। “द रोड अहेड 2.0” पुस्तक, जो अब AI के प्रभाव और इसके भविष्य के संभावनाओं को लेकर एक महत्वपूर्ण संवाद की शुरुआत कर रही है, नीति निर्माताओं, शिक्षाविदों और उद्योग नेताओं के लिए एक कॉल टू एक्शन है, ताकि वे भविष्य की तैयारी करें और AI के सामूहिक लाभ को भुनाने के लिए सामूहिक रूप से काम करें।

यह आयोजन AI के जीवन के विभिन्न पहलुओं और इसके समाज, व्यवसाय, और शिक्षा पर प्रभाव को लेकर एक नई सोच को जन्म देने का अहम कदम साबित हुआ। “The Road Ahead 2.0” का विमोचन भारत को एक ऐसे भविष्य की ओर अग्रसर करने की दिशा में एक अहम कदम है, जहां AI से जुड़े अवसरों का सही इस्तेमाल किया जा सके।
प्रिय पाठकों एवं दर्शकों, प्रतिदिन नई दिल्ली, दिल्ली सरकार, दिल्ली राजनीति, दिल्ली मेट्रो, दिल्ली पुलिस, दिल्ली नगर निगम, नोएडा, ग्रेटर नोएडा, यमुना एक्सप्रेसवे क्षेत्र की ताजा एवं बड़ी खबरें पढ़ने के लिए hindi.tennews.in : हिंदी न्यूज पोर्टल को विजिट करते रहे एवं अपनी ई मेल सबमिट कर सब्सक्राइब भी करे। विडियो न्यूज़ देखने के लिए TEN NEWS NATIONAL यूट्यूब चैनल को भी ज़रूर सब्सक्राइब करे।
Discover more from टेन न्यूज हिंदी
Subscribe to get the latest posts sent to your email.
टिप्पणियाँ बंद हैं।