मोदी सरकार किसानों के साथ अन्याय कर रही है, कांग्रेस के आरोपों की लंबी लिस्ट!
टेन न्यूज नेटवर्क
नई दिल्ली, (06 दिसंबर 2024): कांग्रेस महासचिव और सांसद रणदीप सिंह सुरजेवाला ने मोदी सरकार पर किसानों के साथ छलावा करने और उनके अधिकारों को नकारने का आरोप लगाया है। उन्होंने कहा कि केंद्र सरकार न तो न्यूनतम समर्थन मूल्य (MSP) की कानूनी गारंटी दे रही है और न ही फसलों की उचित खरीद कर रही है। सुरजेवाला ने इसे किसानों के साथ “झूठी सरकार” करार दिया।
सुरजेवाला ने बताया कि पंजाब और हरियाणा से हजारों किसान दिल्ली कूच कर रहे हैं। पिछले नौ महीने से बॉर्डर पर डटे हुए ये किसान शांतिपूर्ण प्रदर्शन कर रहे हैं, लेकिन हरियाणा पुलिस ने उन पर आंसू गैस के गोले छोड़े, जिससे सात किसान घायल हो गए। 101 किसान बैरिकेड पार करने में सफल रहे, लेकिन उन्हें पुलिस और पैरामिलिट्री ने रोक दिया। सुरजेवाला ने इसे लोकतांत्रिक अधिकारों का हनन बताया।
MSP की हकीकत और झूठे वादे
रणदीप सुरजेवाला ने कहा कि केंद्र सरकार के कृषि मंत्री शिवराज सिंह चौहान सदन में MSP पर झूठे दावे कर रहे हैं। उन्होंने कहा कि मोदी सरकार फसलों को उत्पादन लागत के 50% अधिक मूल्य पर खरीदने का दावा करती है, जबकि सच्चाई इसके विपरीत है।
सरकार का दावा है कि वह किसानों को लाभकारी मूल्य दे रही है, लेकिन आंकड़े बताते हैं कि 2023-24 में रबी फसलों की खरीद निम्नलिखित रही:
गेहूं: 23.20%
जौ: 0%
चना: 0.37%
मसूर: 14.08%
सरसों: 9.19%
सुरजेवाला ने बताया कि गेहूं, चना और सरसों जैसे प्रमुख उत्पादों के किसान अपनी फसल लागत भी नहीं निकाल पा रहे हैं।
किसानों की मांगों को खारिज करती सरकार
सुरजेवाला ने कहा कि सुप्रीम कोर्ट में 2015 में केंद्र सरकार ने शपथ पत्र देकर स्वीकार किया था कि लागत का 50% अधिक MSP देना संभव नहीं है क्योंकि इससे बाजार बिगड़ जाएगा। यह स्वामीनाथन आयोग की सिफारिशों का सीधा खंडन है।
उन्होंने बताया कि महाराष्ट्र ने गेहूं की MSP 4461 रुपये प्रति क्विंटल और चने के लिए 7119 रुपये प्रति क्विंटल की मांग की थी, जबकि केंद्र सरकार ने इसे खारिज कर दिया। इसी तरह, गुजरात, झारखंड और बिहार ने भी MSP बढ़ाने की मांग की, लेकिन उसे नजरअंदाज किया गया।
सुरजेवाला ने सोयाबीन किसानों की दुर्दशा का जिक्र करते हुए कहा कि महाराष्ट्र और मध्य प्रदेश के किसान इसे लागत मूल्य से भी कम दाम पर बेचने को मजबूर हैं। महाराष्ट्र में सोयाबीन का समर्थन मूल्य 4,892 रुपये तय किया गया, लेकिन किसानों को यह 4,000 रुपये से भी कम में बेचनी पड़ रही है।
कांग्रेस की मांग
सुरजेवाला ने केंद्र सरकार से दो टूक कहा कि वह किसानों के प्रति दमनकारी रवैया छोड़कर सौहार्दपूर्ण वार्ता करे। उन्होंने संसद के मौजूदा सत्र में MSP की कानूनी गारंटी के लिए कानून बनाने की मांग की।
कांग्रेस पार्टी ने साफ किया कि वह किसानों के शांतिपूर्ण आंदोलन का समर्थन करती है। सुरजेवाला ने कहा कि यदि सरकार ने किसानों की मांगें पूरी नहीं कीं, तो इसका खामियाजा आने वाले चुनावों में भुगतना पड़ेगा।
सुरजेवाला ने कृषि मंत्री शिवराज सिंह चौहान पर झूठे दावे करने का आरोप लगाते हुए कहा कि संसद में बार-बार झूठ बोलकर किसानों को गुमराह किया जा रहा है। उन्होंने कहा कि मोदी सरकार के किसान विरोधी रवैये और झूठे वादों से देश का अन्नदाता आक्रोशित है।
सुरजेवाला ने कहा कि खेती-किसानी किसी भी देश की रीढ़ होती है। यदि किसानों को उनका हक नहीं दिया गया, तो इसका असर देश की अर्थव्यवस्था और समाज पर गहराई से पड़ेगा। उन्होंने चेतावनी दी कि किसान आंदोलन को दबाने की कोशिशें मोदी सरकार के लिए “कफन में कील” साबित होंगी।
कांग्रेस ने देशभर के किसानों से अपील की कि वे अपने अधिकारों के लिए एकजुट हों। पार्टी ने यह भी कहा कि वह किसानों की हर जायज मांग के समर्थन में उनके साथ खड़ी है।।
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