बिहार में मतदाता सूची पुनरीक्षण कार्यक्रम पर रोक लगाने से SC का इनकार

टेन न्यूज नेटवर्क

New Delhi News (10/07/2025): सर्वोच्च न्यायालय ( Supreme Court) ने भारत के चुनाव आयोग (Election Commission of India) को बिहार में मतदाता सूचियों के विशेष गहन पुनरीक्षण (Special Intensive Revision – SIR) की प्रक्रिया पर रोक लगाने से इनकार कर दिया है । यह निर्णय राज्य में चुनावी पारदर्शिता और मतदाता पंजीकरण की प्रक्रिया को बेहतर बनाने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम माना जा रहा है। अदालत के इस फैसले से राज्य में चल रही मतदाता सूची अपडेट प्रक्रिया को वैधानिक बल मिला है, जो आगामी चुनावों की तैयारियों के लिए बेहद अहम है।

सुनवाई के दौरान सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि प्रथम दृष्टया उसकी यह राय है कि न्याय के व्यापक हित में चुनाव आयोग को मतदाता पुनरीक्षण के दौरान आधार कार्ड, राशन कार्ड, मतदाता पहचान पत्र जैसे अन्य प्रासंगिक दस्तावेजों को भी संज्ञान में लेना चाहिए। इससे मतदाता सूची की प्रामाणिकता और सटीकता सुनिश्चित की जा सकेगी और फर्जीवाड़े या दोहरे पंजीकरण जैसे मामलों पर प्रभावी नियंत्रण रहेगा। कोर्ट का मानना है कि विविध दस्तावेजों की जांच से नागरिकों की पहचान से जुड़े विवादों को कम किया जा सकता है।

इस रोक के इनकार से स्पष्ट है कि शीर्ष अदालत चुनावी प्रक्रिया को अधिक पारदर्शी, समावेशी और विश्वसनीय बनाने के पक्ष में है। चुनाव आयोग को अब यह सुनिश्चित करना होगा कि दस्तावेज़ों के आधार पर पुनरीक्षण की प्रक्रिया न केवल निष्पक्ष हो, बल्कि किसी भी योग्य मतदाता को सूची से वंचित न किया जाए। कोर्ट की यह टिप्पणी न केवल बिहार के संदर्भ में महत्वपूर्ण है, बल्कि यह देशभर में मतदाता सूची की शुद्धता को लेकर एक नई दिशा भी तय कर सकती है।


प्रिय पाठकों एवं दर्शकों, प्रतिदिन नई दिल्ली, दिल्ली सरकार, दिल्ली राजनीति, दिल्ली मेट्रो, दिल्ली पुलिस, दिल्ली नगर निगम, नोएडा, ग्रेटर नोएडा, यमुना एक्सप्रेसवे क्षेत्र की ताजा एवं बड़ी खबरें पढ़ने के लिए hindi.tennews.in : राष्ट्रीय न्यूज पोर्टल को विजिट करते रहे एवं अपनी ई मेल सबमिट कर सब्सक्राइब भी करे। विडियो न्यूज़ देखने के लिए TEN NEWS NATIONAL यूट्यूब चैनल को भी ज़रूर सब्सक्राइब करे।


Discover more from टेन न्यूज हिंदी

Subscribe to get the latest posts sent to your email.

टिप्पणियाँ बंद हैं।