ITS इंजीनियरिंग कॉलेज में “एक्सेलेरेटर्स और इनक्यूबेशन” पर कार्यशाला का आयोजन
आई.टी.एस. इंजीनियरिंग कॉलेज, ग्रेटर नोएडा द्वारा नवाचार और उद्यमिता को प्रोत्साहित करने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम उठाते हुए “एक्सेलेरेटर्स और इनक्यूबेशन – छात्रों और शिक्षकों के लिए अवसर – प्रारंभिक चरण के उद्यमियों के लिए” विषय पर कार्यशाला का सफल आयोजन किया गया। यह कार्यशाला कॉलेज की इंस्टीट्यूशन इनोवेशन काउंसिल (IIC-ITSEC) के तत्वावधान में आयोजित की गई।
इस कार्यशाला में मुख्य वक्ता के रूप में प्रसिद्ध शिक्षाविद एवं उद्यमी डॉ. रजत मिश्रा उपस्थित रहे। डॉ. मिश्रा, जो जवाहरलाल नेहरू विश्वविद्यालय (JNU) से पीएच.डी. और BITS पिलानी से बी.ई. की डिग्री प्राप्त कर चुके हैं, Rolling Vector Technologies Pvt. Ltd. के संस्थापक एवं सीईओ हैं। यह संस्था नवाचार को बढ़ावा देने और स्टार्टअप्स को सहयोग प्रदान करने के लिए जानी जाती है।
कार्यक्रम की शुरुआत डॉ. मयंक गर्ग, निदेशक, आई.टी.एस. इंजीनियरिंग कॉलेज एवं IIC-ITSEC के अध्यक्ष द्वारा स्वागत भाषण से हुई। उन्होंने इनक्यूबेशन सेंटर्स और एक्सेलेरेटर प्रोग्राम्स की भूमिका पर प्रकाश डालते हुए बताया कि कैसे ये प्लेटफॉर्म नवाचार को सफल व्यावसायिक मॉडलों में बदलने में सहायक होते हैं। उन्होंने कॉलेज द्वारा निरंतर किए जा रहे प्रयासों की भी सराहना की, जो छात्रों और शिक्षकों को उद्यमिता की ओर प्रेरित करते हैं।
डॉ. रजत मिश्रा ने अपने व्याख्यान में इनक्यूबेशन और एक्सेलेरेटर पारिस्थितिकी तंत्र की विस्तृत जानकारी दी। उन्होंने बताया कि ये प्लेटफॉर्म किस प्रकार मेंटरशिप, वित्तीय सहायता और बाजार पहुंच प्रदान करते हैं। साथ ही उन्होंने राष्ट्रीय एवं अंतरराष्ट्रीय स्तर पर उपलब्ध योजनाओं, फंडिंग स्कीम्स, और स्टार्टअप्स को विचार चरण से बाजार तक ले जाने की रणनीतियों पर भी चर्चा की। उनकी व्यावहारिक सलाह ने उपस्थित छात्रों और शिक्षकों को उद्यमिता के रास्ते को अपनाने के लिए प्रेरित किया।
इस कार्यशाला में छात्रों, शिक्षकों तथा नवोदित उद्यमियों ने उत्साहपूर्वक भाग लिया और स्टार्टअप डेवलपमेंट, फंडिंग एवं स्केलिंग से जुड़े विषयों पर गहन चर्चा की। इंटरेक्टिव सेशन्स और केस स्टडीज ने प्रतिभागियों को स्टार्टअप पारिस्थितिकी तंत्र को समझने का एक बेहतरीन अवसर प्रदान किया।
कार्यक्रम का सफल संचालन डॉ. राजीव रंजन, संयोजक, IIC-ITSEC एवं कार्यक्रम समन्वयक द्वारा किया गया। उन्होंने धन्यवाद प्रस्ताव प्रस्तुत करते हुए मुख्य अतिथि, प्रतिभागियों, आयोजन टीम और नवाचार परिषद का आभार व्यक्त किया।
यह कार्यशाला आई.टी.एस. इंजीनियरिंग कॉलेज के नवाचार, उद्यमिता और उद्योग-शिक्षा सहयोग को बढ़ावा देने के मिशन की दिशा में एक और मील का पत्थर सिद्ध हुई है। कॉलेज अपनी सक्रिय नवाचार परिषद के माध्यम से एक ऐसे सशक्त वातावरण के निर्माण के लिए प्रतिबद्ध है, जहां छात्र एवं शिक्षक अपने विचारों को व्यवहारिक समाधान में परिवर्तित कर सकें.
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