दिल्ली में सीवर सफाई के दौरान मौत, दिल्ली जल बोर्ड जिम्मेदार: देवेन्द्र यादव
टेन न्यूज नेटवर्क
नई दिल्ली (20 मार्च 2025): राजधानी दिल्ली में मैन्युअल सीवर सफाई के दौरान एक और मजदूर की मौत का मामला सामने आया है। न्यू फ्रेंड्स कॉलोनी में सीवर की सफाई करते समय पंथ लाल की दर्दनाक मौत हो गई, जबकि दो अन्य मजदूर राम किशन और शिवदास गंभीर रूप से घायल हो गए। इस घटना के लिए दिल्ली प्रदेश कांग्रेस कमेटी के अध्यक्ष देवेन्द्र यादव ने दिल्ली जल बोर्ड को जिम्मेदार ठहराया है और सरकार पर गंभीर आरोप लगाए हैं।
देवेन्द्र यादव ने इस घटना को सरकार की “सबसे बड़ी विफलता” करार दिया और कहा कि दिल्ली में अब भी मैन्युअल सीवर सफाई हो रही है, जो पूरी तरह से अवैध और अमानवीय है। उन्होंने दिल्ली जल बोर्ड की संवेदनहीनता पर सवाल उठाते हुए कहा कि बोर्ड अपनी जिम्मेदारी से बचने के लिए यह दावा कर रहा है कि मृतक और घायल कर्मचारी उसके स्थायी या संविदा कर्मचारी नहीं थे और वे अनाधिकृत रूप से सीवर में उतरे थे। यादव ने कहा कि यह बयान गैर-जिम्मेदाराना और मानवता के खिलाफ है।
उन्होंने दिल्ली सरकार से मांग की कि मुख्यमंत्री रेखा गुप्ता इस मामले में हस्तक्षेप करें और मृतक पंथ लाल के परिवार को उचित मुआवजा दिया जाए, साथ ही गंभीर रूप से घायल मजदूरों का निशुल्क इलाज करवाया जाए। उन्होंने यह भी सवाल उठाया कि जब सरकार करोड़ों रुपये सीवर सफाई की मशीनों पर खर्च कर रही है, तब भी मजदूरों को बिना किसी सुरक्षा उपकरण के सीवर में उतरने के लिए क्यों मजबूर होना पड़ रहा है?
कांग्रेस नेता ने कहा कि दिल्ली जल बोर्ड ने जब सफाई का ठेका निजी ठेकेदारों को दिया, तो यह उसकी जिम्मेदारी थी कि मजदूरों को उचित सुरक्षा उपकरण दिए जाते। लेकिन लापरवाही के चलते गरीब, दलित और वंचित समाज के मजदूरों को अपनी जान गंवानी पड़ रही है। यादव ने यह भी आरोप लगाया कि भाजपा, जिसने 15 वर्षों तक नगर निगम पर शासन किया और पिछले 11 वर्षों से केंद्र में सत्ता में है, इस वर्ग के प्रति कभी संवेदनशील नहीं रही है। उन्होंने कहा कि सफाई के कार्य से मुख्य रूप से दलित, वंचित और गरीब समाज के लोग जुड़े हुए हैं, और भाजपा सरकार की नीतियां हमेशा इनके खिलाफ रही हैं।
उन्होंने आंकड़ों का हवाला देते हुए कहा कि बीते 15 वर्षों में दिल्ली में मैन्युअल सीवर सफाई के दौरान 94 लोगों की मौत हो चुकी है, लेकिन भाजपा और आम आदमी पार्टी की सरकारें इस अमानवीय प्रथा को रोकने में पूरी तरह से विफल रही हैं। उन्होंने यह भी कहा कि स्वच्छता कर्मचारी प्रतिषेध अधिनियम 2013 के तहत मैन्युअल सीवर सफाई पर पूरी तरह से प्रतिबंध है, लेकिन इसे लागू करने में भी सरकारें नाकाम रही हैं।
देवेन्द्र यादव ने सरकार से मांग की कि मैन्युअल सीवर सफाई को पूरी तरह से रोका जाए, दोषियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाए, और पीड़ित परिवारों को न्याय दिलाया जाए। उन्होंने जोर देकर कहा कि सरकार को चाहिए कि वह मशीनों के जरिए सीवर सफाई सुनिश्चित करे और सफाई कर्मचारियों के पुनर्वास के लिए ठोस कदम उठाए, ताकि भविष्य में इस तरह की त्रासद घटनाएं न हों।
प्रिय पाठकों एवं दर्शकों, प्रतिदिन नई दिल्ली, दिल्ली सरकार, दिल्ली राजनीति, दिल्ली मेट्रो, दिल्ली पुलिस, दिल्ली नगर निगम, नोएडा, ग्रेटर नोएडा, यमुना एक्सप्रेसवे क्षेत्र की ताजा एवं बड़ी खबरें पढ़ने के लिए hindi.tennews.in : हिंदी न्यूज पोर्टल को विजिट करते रहे एवं अपनी ई मेल सबमिट कर सब्सक्राइब भी करे। विडियो न्यूज़ देखने के लिए TEN NEWS NATIONAL यूट्यूब चैनल को भी ज़रूर सब्सक्राइब करे।
Discover more from टेन न्यूज हिंदी
Subscribe to get the latest posts sent to your email.
टिप्पणियाँ बंद हैं।